Haryana Wrather Update: हरियाणा के 8 जिलों में आज जमकर बरसेंगें बदरा, सिरसा समेत 3 जिलों में सुबह से तेज हवा के साथ बूंदाबांदी, किसानों के चेहरे खिले

Haryana Weather Update: हरियाणा में एक बार फिर मौसम करवट ले चूका है। नया पश्चिमी विक्षोभ एक्टिव होने के साथ ही हरियाणा में गुरुवार की तरह आज शुक्रवार को को सुबह से प्रदेश के कई इलाकों में बारिश हो रही है।
हरियाणा के 8 जिलों में होगी झमाझम बारिश
अधिक जानकरी के लिए बता दे की मौसम विभाग ने आज हरियाणा के 8 जिलों में बारिश होने की संभावना जताई है। इनमें जींद , पंचकूला करनाल, यमुनानगर, पानीपत, कैथल, कुरुक्षेत्र और अंबाला शामिल है।
सिरसा समेत इन जिलों में सुबह से बारिश
आज सुबह से ही प्रदेश के कई जिलों में झमाझम बारिश हो रही है। हल्की बूंदाबांदी से किसानों के चेहरे खिल उठे है। बता दे की बारिश से तापमान में गिरावट आएगी जिससे किसानों की गेहूं की फसल को फायदा पहुंचेगा। वहीँ कई जिलों में तेज हवा से किसानों की चिंता जरूर बढ़ी है। प्रदेश में आज सिरसा, फतेहाबाद और पानीपत में सुबह से बारिश हुई है। वहीं, पंचकूला में रातभर बारिश हुई है, और अभी बादल छाए हुए हैं।
हरियाणा के कई जिलों में तापमान गिरा
बारिश होने से हरियाणा के अधिकतम तापमान में -7.8 डिग्री की गिरावट दर्ज की गई है, जो सामान्य से -3.6 डिग्री कम है। वहीं, फरीदाबाद में सबसे ज्यादा 26.0 डिग्री तापमान दर्ज किया गया है। इसके अलावा करनाल, कुरुक्षेत्र और रोहतक में तापमान 20 डिग्री से नीचे आ गया है।
मौसम विज्ञानियों का कहना है कि बारिश का क्रम अभी 1 मार्च तक बना रहेगा। हरियाणा के उत्तरी व पूर्व इलाकों में बारिश और बाकी हरियाणा में तेज गति से हवाएं चलने की संभावना है। कृषि विज्ञानियों ने गेहूं की फसल में पानी न लगाने की सलाह किसानों को दी है।
हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय के वरिष्ठ गेहूं विशेषज्ञ डॉ. ओपी बिश्नोई ने बताया है कि जो बूंदाबांदी हुई है, यह फसलों के लिए फायदेमंद है। 1 मार्च तक बारिश की संभावना बनी हुई है। इसलिए, किसानों को अभी फसल में पानी नहीं लगाना चाहिए।
उन्होंने कहा कि तेज हवा चलने और ओलावृष्टि से फसलों को नुकसान हो सकता है। पश्चिमी विक्षोभ से तापमान में गिरावट दर्ज की गई है। अभी गेहूं की फसल की बालियां निकल रही हैं, जो उसे फायदा पहुंचाएगी। यदि ऐसा मौसम और तापमान बना रहा तो इस बार गेहूं की फसल काफी बेहतर होगी। उन्होंने कहा कि सरसों, चना, जौ की फसल में भी यह बारिश फायदेमंद है। किसान अपने खेत में पानी न खड़ा होने दें।