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जुलाना में मांगों को लेकर मनरेगा मजदूरों ने किया प्रदर्शन

मनरेगा मजदूरों की प्रतिदिन 374 रुपए हैं लेकिन जुलाना में जानबूझकर मजदूरी कम दी जाती है। यह सब पंचायत अभियंता द्वारा पैमाइश करके मस्ट्रोल व एमबी भरने के बावजूद बाद में कटौती की जाती हैं। जुलाना ब्लॉक के गांव अकालगढ़, लजवाना कलां, खरेंटी, देवरड, फतेहगढ़, पौली, किलाजफरगढ़ आदि गांव में कम मजदूरी दी गई हैं।
 
JULANA NEWS

जुलाना में मंगलवार को जुलाना में मनरेगा श्रमिक यूनियन जींद व खेत मजदूर यूनियन ने संयुक्त रूप से बीडीपीओ कार्यालय जुलाना पर मनरेगा मजदूरों की मांगों एवं समस्याओं को लेकर जोरदार प्रदर्शन किया और अपनी स्थानीय मांगों को लेकर एक ज्ञापन प्रधानमंत्री के नाम बीडीपीओ प्रतीक कुमार को दिया। इससे पहले सैंकड़ों की संख्या में मजदूर जुलाना के लेबर शैड में इकट्ठे हुए और यहां पर एक जनसभा की जिसकी अध्यक्षता मनरेगा श्रमिक यूनियन के नेता सुरेश करसोला व खेत मजदूर यूनियन के नेता सूरजभान खरेंटी ने संयुक्त रूप से की। बैठक में मजदूरों को संबोधित करते हुए सीटू जिला सचिव कॉमरेड कपूर सिंह व कॉमरेड रमेश चंद्र ने बताया कि खण्ड जुलाना में मनरेगा में भारी भ्रष्टाचार फैला हुआ हैं। 

मनरेगा मजदूरों की प्रतिदिन 374 रुपए हैं लेकिन जुलाना में जानबूझकर मजदूरी कम दी जाती है। यह सब पंचायत अभियंता द्वारा पैमाइश करके मस्ट्रोल व एमबी भरने के बावजूद बाद में कटौती की जाती हैं। जुलाना ब्लॉक के गांव अकालगढ़, लजवाना कलां, खरेंटी, देवरड, फतेहगढ़, पौली, किलाजफरगढ़ आदि गांव में कम मजदूरी दी गई हैं। इसके अलावा कानून में गांव से पांच किलोमीटर दूर जाने पर 10 प्रतिशत किराया मिलता हैं लेकिन जुलाना ब्लॉक के मजदूरों को यह किराया नहीं मिल रहा। काम मांगने के बावजूद मजदूरों को काम नहीं दिया जाता और न ही बेरोजगारी भत्ता दिया जाता।

इसके अलावा केंद्र सरकार से मजदूरों की मांग हैं कि मनरेगा में 200 दिन काम व 700 रुपए दिहाड़ी दी जाए। काम के दौरान मृत्यु होने पर मनरेगा मजदूर के परिवार को 10 लाख रुपए मुआवजा दिया जाए। मनरेगा के बजट में बढ़ोतरी की जाए। किए गए काम की पूरी मजदूरी दी जाए। जिओ टैग हाजिरी पर रोक लगाई जाए।

 इस मौके पर दीनदयाल, गुलाब, दलबीर, कुलदीप, सुभाष पांचाल, सुल्तान जांगड़ा, पृथ्वी, राजेश, पवन, बिट्टू सहित सैकड़ों की संख्या में मनरेगा मजदूरों ने भाग लिया।